यूपी – गाजियाबाद विश्व ब्रह्मऋषि ब्राह्मण महासभा के पीठाधीश्वर ब्रह्मऋषि विभूति बीके शर्मा हनुमान के आवास पर आशीर्वाद देने पहुंचे शिवशक्ति धाम डासना के पीठाधीश्वर व श्रीपंचदशनाम जूना अखाड़े के महामंडलेश्वर यति नरसिंहानंद गिरी महाराज। दो सनातन धर्मियों की शिष्टाचार मुलाकात के शुभ अवसर पर महामंडलेश्वर यतिनरसिंहानंद गिरि महाराज ने कहा कि आज सनातन धर्म अभूतपूर्व खतरे में है। हर तरफ से सनातन धर्म को मिटाने का प्रयास किया जा रहा है।
उन्होंने कहा सौ करोड़ सनातन के मानने वाले मौन होकर यह सब सहने के लिये विवश हैं क्योंकि वो केवल एक भीड़ बन कर रह गए हैं। अगर सनातन धर्म को बचना है और सनातन के मानने वालों को जिंदा रहना है तो इस सौ करोड़ की भीड़ को एक कौम में बदलना पड़ेगा। यह साधारण जनता का नही बल्कि धर्मगुरुओं का कार्य है। सनातन के धर्मगुरुओं को अब एकमत होकर इस दिशा के सौ करोड़ सनातनियों को लेकर चलना चाहिये।
इस गम्भीर विषय पर चर्चा करते हुए विश्व ब्रह्मऋषि ब्राह्मण महासभा के पीठाधीश्वर ब्रह्मऋषि विभूति बीके शर्मा हनुमान ने कहा कि विज्ञान जब प्रत्येक वस्तु, विचार और तत्व का मूल्यांकन करता है तो इस प्रक्रिया में धर्म के अनेक विश्वास और सिद्धांत धराशायी हो जाते हैं। विज्ञान भी सनातन सत्य को पकड़ने में अभी तक कामयाब नहीं हुआ है किंतु वेदांत में उल्लेखित जिस सनातन सत्य की महिमा का वर्णन किया गया है विज्ञान धीरे-धीरे उससे सहमत होता नजर आ रहा है। हमारे ऋषि-मुनियों ने ध्यान और मोक्ष की गहरी अवस्था में ब्रह्म, ब्रह्मांड और आत्मा के रहस्य को जानकर उसे स्पष्ट तौर पर व्यक्त किया था। वेदों में ही सर्वप्रथम ब्रह्म और ब्रह्मांड के रहस्य पर से पर्दा हटाकर ‘मोक्ष’ की धारणा को प्रतिपादित कर उसके महत्व को समझाया गया था। मोक्ष के बगैर आत्मा की कोई गति नहीं इसीलिए ऋषियों ने मोक्ष के मार्ग को ही सनातन मार्ग माना है। इस अवसर पर विश्व ब्रह्मऋषि ब्राह्मण महासभा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष कपिल पंडित, दिनेश शर्मा, अंकित शर्मा, राजेश शर्मा, श्रीकांत वर्मा, मनोज चौधरी, नीतू चौधरी, राजेंद्र धामा मौजूद रहे।