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बाढ़ ग्रस्त छेत्र में जानवर,चूहे इत्यादि के मरने से फैल सकती है ज़ूनोसिस : डॉ बी पी त्यागी

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Zoonosis का अर्थ है – ऐसे रोग या संक्रमण जो जानवरों से मनुष्यों में प्राकृतिक व अप्राकृतिक रूप से फैलते हैं।

फैलने के तरीके:

•   सीधे संपर्क से (जैसे – कुत्ते के काटने से रेबीज़)
 •   अप्रत्यक्ष संपर्क से
बाढ़ में जानवरो के मरने से (संक्रमित मिट्टी व पानी से)
 •   वाहक (Vector) के ज़रिए – जैसे मच्छर, किलनी (tick), मक्खी
 •   दूषित पशु उत्पादों से (कच्चा/अधपका मांस, बिना उबाला दूध)

उदाहरण:
•   वायरस जनित: रेबीज़, स्वाइन फ्लू, बर्ड फ्लू, इबोला, COVID-19
•   बैक्टीरिया जनित: तपेदिक (गाय से), प्लेग (चूहे से), लेप्टोस्पायरोसिस, ब्रुसेलोसिस
•   परजीवी जनित: टॉक्सोप्लाज़्मोसिस, हाइडेटिड रोग
•   फफूंद (Fungal):
काला ,सफेद व येलो फंगस (जो रेप्टाइल्स-छिपकली व साप से फैलता है)

महत्त्व:

•   मनुष्यों की लगभग 60% संक्रामक बीमारियाँ ज़ूनोसिस होती हैं।
•   नई उभरती बीमारियों (Emerging Diseases) जैसे SARS, MERS, COVID-19 का स्रोत भी जानवर रहे हैं।
•   इनसे बचाव के लिए बाढ़ ग्रस्त छेत्रो में पानी की सफाई करना जरूरी है। पानी की सफाई किट नासक स्प्रे व पाउडर से हो सकती है।